दोस्तो आज हम बात करने वाले हैं रेलगाड़ी में यूनिक चिन्हों About Railway Sign के बारे में। आपने ट्रेन का सफर तो किया ही होगा। ट्रेन में आपने कई तरह के साइन यानि चिन्ह् देखे होगें। क्या आपने सोचा है कि ट्रेन पर बने हर साइन का कुछ न कुछ मतलब होता है। आज हम उन्हीं साइन की बात करने वाले हैं कि किस साइन का क्या मतलब होता है?
रूफ वेंटिलेटर
- जब आप ट्रेन में सफर करते हैं तो आपने कभी ट्रेन की छत पर एक जाली देखी होगी इसे रूफ वेंटिलेटर कहते हैं।
- जब ट्रेन में भीड़ ज्यादा हो जाती है तो गर्म हवा बनने लगती है और गर्म हवा हमेशा उपर की ओर उठती है।
- इस गर्म हवा को निकालने के लिए रूफ वेंटिलेटर को लगाया जाता है।
- इनको ट्रेन के डिब्बों के उपर इस तरह से ढक दिया जाता है कि बरसात का पानी सीधे डिब्बे के अंदर न पहुंच पाये।
रेल के पंखे और लाइट
- क्या आपको ये बात पता है कि रेल के पंखे और लाइट आप अपने घर में नहीं चला सकते।
- पहले लोग रेल के पंखे और लाइट चोरी करके ले जाया करते थे।
- रेलवे ने इसका एक तोड़ निकाला।
- हमारे घरों में लाइट 220 एसी या 5, 12, 24 डीसी रहता है।
- रेलवे ने इन सबको ध्यान में रखते हुए रेल में 120 डीसी का करंट कर दिया।
- ट्रेन के नीचे लगे बैटरी से ये करंट आता है।
- इसलिए रेल के पंखे और लाइट घर में काम नहीं आ सकते।
- इस वजह से रेलवे के पंखों और लाइट की चोरी रूक गई।
बैटरी चार्जिग इन्डिकेटर
- इसे बैटरी चार्जिग इन्डिकेटर कहते हैं।
- रेल के कोच की बैटरी को चैक करने के लिए बैटरी चार्जिग इन्डिकेटर लगाया जाता है।
- इसमें तीन लाइट दी होती है।
- ग्रीन :- ग्रीन का मतलब है आपके कोच बैटरी एकदम तैयार है।
- येलो – येलो का मलतब आपके कोच की बैटरी चार्जिंग मोड में है।
- रेड – रेड का मतलब है आपके कोच की बैटरी डिस्चार्ज हो रही है।
Side Filling और Lift Here
- ज्यादातर ये रेल कोच के पायदान के पास लिखा रहता है।
- Lift Here का मतलब होता है यहां से उठाइये।
- किसी वजह से अगर रेल कोच को उठाना हो तो यहीं से उठाया जाता है।
- Side Filling का मतलब होता है यहां से भरिये।
- जब रेल के डिब्बे में पानी भरना होता है तो यहीं से भरा जाता है।
- रेल के डिब्बे में चार टंकी होती है।
- दो टंकी आगे के बाथरूम में और दो पीछे के बाथरूम में।
- एक टंकी की केपिसिटी 500 लीटर होती है।
- इन टंकियों को भरने में 20 मिनट का टाइम लगता है।
- टंकियों का जल्दी भरने के लिए पाइप का ढूंढना न पडे़ इसलिए डिब्बे में पहले से लिखा रहता हे।
- एक डिब्बे में पानी की केपिसिटी 500×4=2000 लीटर होती है।
लाइनिंग About Railway Sign
- रेल के कई डिब्बों में आपने इस तरह से लाइनिंग देखी होगी।
- ये लाइनिंग जनरल (द्वितीय श्रेणी) डिब्बे को दर्शाती है।
- जनरल डिब्बे में ज्यादातर तीन गेट होते है जबकि स्लीपर और दूसरे डिब्बों में दरवाजे दो ही होते हैं।
- जनरल डिब्बे में भीड़ ज्यादा होने की वजह से चढने और उतरने में आसानी हो इसलिए तीन गेट लगाये जाते हैं।
- जनरल डिब्बे रेल के शुरू और आखिर में ही लगाये जाते है, ये डिब्बे कभी भी बीच में नहीं होते हैं।
- स्लीपर के डिब्बे एक-दूसरे जुडे़ होते हैं जबकि जनरल डिब्बे आपस में जुडे़ नहीं होते हैं।
कोच नम्बर
- आपने रेल के डिब्बे पर कुछ नम्बर लिखे देखे होंगे, जिसे कोच नम्बर कहा जाता है।
- ये नम्बर 5 डिजिट के होते हैं।
- शुरूआत के दो डिजिट उस साल को दर्शाते हैं जिस साल में यह कोच बना है।
- लास्ट के तीन डिजिट कोच के टाइप को दर्शाते हैं कि ये कोच किस टाइप का है।
- 1 – 200 तक के नम्बर एसी कोच को दर्शाते हैं।
- 200 -400 तक के नम्बर स्लीपर कोच का दर्शाते हैं।
- 400 – 600 तक के नम्बर जनरल कोच यानि द्वितीय श्रेणी को दर्शाते हैं।
- 600 – 700 चेयर कार को दर्शाता है।
- 700 – 800 सीटिंग कम लगेज को दर्शाता है।
- जिस डिब्बे पर 800 से ज्यादा का नम्बर रहता है वो चिट्ठी ले जाने पेन्ट्री, जनरेटर का डिब्बा रहता है।
क्रॉस
- ट्रेन के लास्ट डिब्बे के पीछे क्रॉस का चिन्ह बना रहता है।
- ये क्रॉस यह दर्शाता है कि पूरी ट्रेन जा चुकी है यह डिब्बा ट्रेन के लास्ट का डिब्बा है।
- क्रॉस के साथ ही LV लिखा होता है।
- LV का मतलब होता है लास्ट व्हिकल यानि आखरी डिब्बा अब निकल गया है, ट्रेन कहीं से टूटी नहीं है।
- क्रॉस के साथ एक छोटी लाइट भी लगी होती है, जो लगातार जलती नहीं है बल्कि बि्ंलक करती रहती है।
- यह पीछे उसी ट्रेक पर आने वाली ट्रेन के लिए वार्निंग रहती है।
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